आज तलत अज़ीज़ की शानदार ग़ज़ल सुनी..लाजवाब
कैसे सुकून पाऊं तुझे देखने के बाद
अब क्या ग़ज़ल सुनाऊँ तुझे देखने के बाद
आवाज़ दे रही हैं मेरी ज़िन्दगी मुझे
जाऊं मैं या न जाऊं तुझे देखने के बाद
तेरी निगाहें मस्त ने मखमूर कर दिया
क्या मैक़दे को जाऊं तुझे देखने के बाद
आँखों से हो बयान तो साँसों को रोक लूँ
चेहरा कहाँ छुपाऊं तुझे देखने के बाद
काबे का एहतेराम भी मेरी नज़र में है
सर किस तरफ झुकाऊं तुझे देखने के बाद
मखमूर- शराब पीकर मस्त
कैसे सुकून पाऊं तुझे देखने के बाद
अब क्या ग़ज़ल सुनाऊँ तुझे देखने के बाद
आवाज़ दे रही हैं मेरी ज़िन्दगी मुझे
जाऊं मैं या न जाऊं तुझे देखने के बाद
तेरी निगाहें मस्त ने मखमूर कर दिया
क्या मैक़दे को जाऊं तुझे देखने के बाद
आँखों से हो बयान तो साँसों को रोक लूँ
चेहरा कहाँ छुपाऊं तुझे देखने के बाद
काबे का एहतेराम भी मेरी नज़र में है
सर किस तरफ झुकाऊं तुझे देखने के बाद
मखमूर- शराब पीकर मस्त
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